पिय मिलन श्रृंगार दर्पन , नदी की चंचलता धारा शाश्वत, सुष्मित हृदय जीवन शाश्वत, कंठ का स्वर पक्षी का कलरव, सूर्य किरण उजला मन, नौका विहार जल तरंग, दीपक की लौ प्रकाशित मन, सत्कर्म जीवन धर्म, सुगंध हारसिंगार का पुष्प । - आनन्द कुमार Humbles.in
पिय मिलन श्रृंगार दर्पन , नदी की चंचलता धारा शाश्वत, सुष्मित हृदय जीवन शाश्वत, कंठ का स्वर पक्षी का कलरव, सूर्य किरण उजला मन, नौका विहार जल तरंग, दीपक की लौ प्रकाशित मन, सत्कर्म जीवन धर्म, सुगंध हारसिंगार का पुष्प । - आनन्द कुमार Humbles.in